देश में वन नेशन वन इलेक्शन को लेकर नई दिल्ली में बुधवार (25 अक्टूबर) को चल रही बैठक समाप्त हो गई है. मीटिंग खत्म होने के बाद केंद्रीय गृह मंत्री अमित शाह, पूर्व सॉलिसिटर जनरल हरीश साल्वे, जम्मू-कश्मीर के पूर्व सीएम गुलाम नबी आजाद, विधि आयोग के चेयरमैन ऋतु राज अवस्थी बैठक से निकल गए हैं.
बैठक की अध्यक्षता पूर्व राष्ट्रपति रामनाथ कोविंद ने की.
पूरे देश में एक साथ चुनाव किस तरह से करवाए जा सकते हैं, इस पर विचार जानने के लिए समिति ने विधि आयोग को 25 अक्टूबर को आमंत्रित किया था. लॉ कमीशन की ओर से इस संबंध में पूरा रोडमैप तैयार किया जा रहा है.
‘कानून और संविधान में करने होंगे संशोधन’
सूत्र बताते हैं कि आज भी बैठक में कमीशन की ओर से कमेटी के समक्ष जानकारी दी गई कि वन नेशन, वन इलेक्शन को अगर देश में लागू करना है तो उसके लिए कानून और संविधान में क्या संशोधन करने पड़ेंगे.
‘2024 के चुनाव में ‘वन नेशन वन इलेक्शन’ को लागू करना मुमकिन नहीं’
सूत्रों के मुताबिक कमीशन ने कमेटी को बताया कि फिलहाल 2024 के चुनाव में वन नेशन, वन इलेक्शन को लागू करना मुमकिन नहीं है, लेकिन 2029 में इसको लागू किया जा सकता है. उससे पहले संविधान में संशोधन करना होगा.
पिछले माह हुई पहली बैठक में लिये थे यह खास निर्णय
समिति की पिछले माह पहली बैठक में मान्यता प्राप्त राष्ट्रीय राजनीतिक दलों, राज्यों में सरकार चला रहे राजनीतिक दलों और अन्य दूसरे मान्यता प्राप्त क्षेत्रीय राजनीतिक दलों को देश में एक साथ चुनाव कराने के मामले पर उनके सुझाव और विचार जानने को आमंत्रित करने का निर्णय लिया था. समिति ने इस मुद्दे पर अपने सुझाव देने के लिए भारत के विधि आयोग को आमंत्रित करने का भी निर्णय लिया गया था.